आज कल लोग अपने कामकाज में इतने व्यस्त हो गये है की उनके पास खुद के सेहत का ध्यान रखने का वक़्त ही नहीं होता, जिसके चलते वे अपने खानपान में सही पोषण व सभी विटामिन शामिल नहीं कर पाते जिससे शरीर बीमारियों की चपेट में आ जाता है। कई स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने खुलासा किया है कि जिंदगी में अचानक बदलाव मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करता है। हालांकि, ये अकेलापन, चिंता या घबराहट शरीर में मैग्नीशियम की कमी के संकेत को भी दर्शा सकता है। मैग्नीशियम एक सूक्ष्म पोषक तत्व है जो अवसाद और चिंता पर सीधा प्रभाव डालता है। इसलिए इसकी कमी को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए। और मैग्नीशियम की कमी को पूरा करने के लिए आपको किस तरह के खाने की चीजों का सेवन करना चाहिए, इसके बारे में आज के ब्लॉग पोस्ट में चर्चा करेंगे ;
मैग्नीशियम क्या है ?
- मैग्नीशियम एक खनिज होता है, इसका उपयोग तब किया जाता है जब आपके रक्त में इसकी मात्रा कम हो जाती है। दरअसल मैग्नीशियम तंत्रिकाओं, मांसपेशियों, कोशिकाओं, हड्डियों और हार्ट को सही ढंग से चलाना के लिए काम करता है।
- इंसान के शरीर में आमतौर पर संतुलित आहार खाने से मैग्नीशियम की मात्रा सही रहती है, लेकिन जब आपके शरीर में इसकी कमी हो जाती है तो आपके पूरे शरीर पर इसका असर पड़ता है। मैग्नीशियम का उपयोग शरीर को आवश्यक मैग्नीशियम प्रदान करने के लिए किया जाता है।
- मैग्नीशियम हमारे शरीर के लिए बेहद जरूरी है क्योंकि ये हमारे इम्यूनिटी सिस्टम को मजबूती प्रदान करता है, साथ ही ब्लड प्रेशर और मांसपेशियों को भी स्वस्थ बनाए रखता है। शरीर में मैग्नीशियम की कमी से थकान लगना, भूख न लगना, उल्टी, नींद न आना, मतली, मांसपेशियों की समस्या आदि हो सकती है।
अगर मैग्नीशियम की कमी से तंत्रिकाओं और मस्तिष्क संबंधित गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है, तो इससे बचाव के लिए आपको लुधियाना में बेस्ट न्यूरोसर्जन का चयन करना चाहिए।
मैग्नीशियम को अपने आहार में क्यों शामिल किया जाता है ?
- इसलिए इसको शामिल किया जाता है ताकि ब्लड शुगर लेवल सही रहें। वहीं रिपोर्ट्स बताती है कि जो लोग टाइप टू डायबिटीज से ग्रसित होते है, उनके खून में मैग्नीशियम की मात्रा कम होती है जिससे शरीर के लिए ब्लड शुगर लेवल को बैलेंस करना कठिन हो जाता है। दूसरी तरफ जो लोग मैग्नीशियम को अपने खानपान में शामिल करते हैं उन्हें टाइप टू डायबिटीज होने का खतरा भी कम हो जाता है। एक स्टडी में यह पाया गया कि मैग्नीशियम का सेवन करने से इंसुलिन सेंसिटिविटी में सुधार होता है और ब्लड शुगर लेवल मेंटेन रहता है।
- मैग्नीशियम का सेवन करने से टाइप टू डायबिटीज का खतरा कम हो जाता है, मैग्नीशियम ग्लूकोस और इंसुलिन रेगुलेशन में अहम योगदान निभाते है जिससे डायबिटीज का खतरा कम हो जाता है।
- कई अध्ययनों में यह पाया गया है कि मैग्नीशियम की खुराक पर्याप्त मात्रा में लेने से माइग्रेन का खतरा कम हो जाता है और इसे नियंत्रित किया जा सकता है। अगर आप माइग्रेन संबंधित समस्याओं से निजात पाना चाहते है तो इसके लिए आपको लुधियाना में बेस्ट न्यूरोलॉजिस्ट का चयन करना चाहिए।
- मैग्नीशियम हमारे दिल को स्वस्थ बनाए रखता है, रिसर्च में यह पाया गया है कि मैग्नीशियम के भरपूर सप्लीमेंट लेने से हाई ब्लड प्रेशर को कम करने में मदद मिलती है, जो हृदय रोग के जोखिम कारक में से एक है, अधिक मात्रा में मैग्नीशियम का सेवन करने से हृदय रोग और हाई ब्लड प्रेशर का जोखिम कम हो जाता है, जिससे दिल का स्वास्थ्य अच्छा रहता है।
- हड्डियों के स्वास्थ्य के लिए कैल्शियम जरूरी होता है, लेकिन, कई रिसर्च बताती है कि पर्याप्त मात्रा में मैग्नीशियम का सेवन करने से महिलाओं में मेनोपॉज के बाद हड्डियों के क्रिस्टल बनने, बोन डेंसिटी में वृद्धि और ओस्टियोपोरोसिस का खतरा कम हो जाता है। मैग्नीशियम कैल्शियम और विटामिन-डी के लेवल को बैलेंस करने में मदद करता है. हड्डियों के अच्छे स्वास्थ्य के लिए मैग्नीशियम और मिनरल्स बहुत जरूरी है।
किन खाने की चीजों में मैग्नीशियम की मात्रा ज्यादा पाई जाती है ?
- पालक न केवल स्वाद से भरपूर है बल्कि पोषक तत्वों और मैग्नीशियम से भी भरपूर है। आप इसे सलाद में कच्चा भी खा सकते है।
- पोटेशियम की मात्रा के अलावा केले में मैग्नीशियम की अच्छी मात्रा पाई जाती है। यह आपके दिल को स्वस्थ रखने में मदद करता है। केले में मौजूद पोषक तत्व शरीर के कामकाज को बढ़ावा देते है।
- मुट्ठी भर बादाम खाने से आपको लगभग सभी पोषक तत्व मिल जाते है। बादाम मैग्नीशियम का एक शानदार स्रोत है। ज्यादा पोषक तत्व पाने के लिए आपको बादाम को रातभर पानी में भिगोकर सुबह बासी मुंह खाना चाहिए।
- काजू मैग्नीशियम की एक अच्छी खुराक प्रदान करते है। रोआजन मुट्ठीभर काजू खाने से आपको न सिर्फ मैग्नीशियम बल्कि प्रोटीन, फाइबर, कैल्शियम और विटामिन भी मिलते है।
- तिल और सूरजमुखी दोनों के बीज न केवल स्वादिष्ट होते है, बल्कि मैग्नीशियम का भी शानदार स्रोत है। इनमें कद्दू के बीज में भी ज्यादा मैग्नीशियम पाया जाता है। आप इन बीजों को अपने सलाद पर छिड़क कर या अपने खाने में शामिल कर सकते है।
- सोयाबीन से बना टोफू न केवल प्रोटीन का बढ़िया स्रोत है, बल्कि मैग्नीशियम से भी भरा होता है। इसे आप कच्चा खा सकते है या फिर सब्जी बना सकते है। इसे मैरीनेट किया जा सकता है, ग्रिल किया जा सकता है, या आपके पसंदीदा खाने में मिलाया जा सकता है। इनके अलावा ब्राजील नट्स, किनोआ, ब्लैक बीन्स, सैलमन फिश आदि भी यह भरपूर मात्रा में पाया जाता है।
मैग्नीशियम किन मांसाहारी चीजों में पाया जाता है ?
सैलमन मछली :
यह हम सभी जानते है, कि सी-फ़ूड सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होते है। कुछ मछलियों में मैग्नीशियम पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है जिससे आप रोजाना के लिए जरुरी मैग्नीशियम की खुराक आसानी से हासिल कर सकते है। आंकड़ों के अनुसार 84 मिलीग्राम पकी हुई सैलमन मछली में लगभग 26 मिलीग्राम मैग्नीशियम मिलता है।
चिकन :
चिकन प्रोटीन का स्रोत होने के साथ-साथ मैग्नीशियम का भी अच्छा स्रोत है। आंकड़ों के अनुसार 84 मिलीग्राम रोस्टेड चिकन में लगभग 22 मिलीग्राम मैग्नीशियम पाया जाता है।
बीफ :
चिकन के अलावा बीफ (भैंस का मांस) में भी मैग्नीशियम की मात्रा पायी जाती है। 84 मिलीग्राम बीफ में लगभग 20 मिलीग्राम मैग्नीशियम मिलता है।
मैग्नीशियम के स्त्रोत :
केला, बादाम, कद्दू के बीज, दही, ब्लैक बीन्स, पालक, एवोकाडो, डार्क चॉक्लेट आदि में मैग्नीशियम की मात्रा ज्यादा पाई जाती है।
रोजाना कितने मैग्नीशियम का सेवन किया जाता है ?
यह आमतौर पर हड्डियों में जमा होता है और हमारे शरीर के लिए एक महत्वपूर्ण खनिज है। इसलिए प्रति दिन मैग्नीशियम की आवश्यकता 350 मिलीग्राम, करनी चाहिए आपको। वहीं अनाज, हरी पत्तेदार सब्जियों और नट्स में प्राप्त मात्रा में पाई जाती है।
सुझाव :
जैसे की आपको पता है की मैग्नीशियम की कमी आपके दिमाग से जुडी समस्याओं को उत्पन्न कर देता है इसलिए इससे बचाव के लिए आपको भरपूर मात्रा में इसका सेवन करना चाहिए और किन खाने की चीजों में ये भरपूर मात्रा में पाई जाती है इसके बारे में हम उपरोक्त बता चुके है लेकिन ध्यान रहें दिमागी समस्या गंभीर होने पर आपको झावर हॉस्पिटल का चयन करना चाहिए।
निष्कर्ष :
अगर आप रोजाना इसका सेवन करते है तो आपको किसी भी तरह की सेहत समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ता है। मैग्नीशियम का सेवन ज्यादा करने से आप हर तरह की बीमारियों से खुद का बचाव बहुत ही आसानी से कर सकते है। पर इसका सेवन आपको बहुत अधिक मात्रा में नहीं करना चाहिए, क्युकी अति किसी भी चीज की नुकसानदायक ही हो सकती है, फिर चाहें वो खाने की चीज हो या कोई अन्य चीज।